16 साल की उम्र में दिलीप कुमार को दिल दे बैठी थीं सायरा, गजब है दोनो की प्रेम कहानी

बॉलीवुड के 'सिकंदर' रहे अभिनेता दिलीप कुमार ने इंडस्ट्री को उभरते हुए देखा है। वह दौर था जब सिनेमा जगत में सब कुछ कैमरे के दम पर नहीं बल्कि खुद के दम पर करना पड़ता था। उस समय में दिलीप कुमार ने लोगों के दिलों पर जो छाप छोड़ी है, वह आज भी जिंदा है और सदियों तक लोग उनकी जिंदादिली अभिनय को भूल नहीं पाएंगे। दिलीप कुमार की फिल्मों के बारे में तो हर कोई जानता है। लेकिन इनकी पर्सनल लाइफ के बारे में बहुत कम ही लोगों को पता है। तो यहां हम अभिनेता दिलीप कुमार की निजी जिंदगी से जुड़े हर पहलू से आपको रूबरू कराएंगे।
दिलीप कुमार और सायरा बानो की लव स्टोरी
कहा जाता है कि दिलीप किशोरावस्था में इतने हैंडसम थे कि लड़कियां उनकी एक झलक पाने के लिए घंटों इंतजार करती थीं। दिलीप कुमार के कातिलाना लुक को देखकर सायरा बानो 12 साल की उम्र से ही उनको प्यार करने लगी थीं। वह अक्सर अपनी मां के साथ दिलीप कुमार की फिल्म देखने जाया करती थीं। कहते हैं, बस यहीं से सायरा ने मन ही मन में दिलीप कुमार को अपना बना लिया था।
वक्त के साथ-साथ वह उनके नाम के सपने बुनने लगीं। वह 16 साल की थीं, जब 1960 में दिलीप कुमार की सुपर हिट फिल्म 'मुगल-ए-आज़म' का पहला प्रीमियर मुंबई के प्रसिद्ध मराठा मंदिर मूवी हॉल में आयोजित किया गया था, जिसमें दिलीप कुमार आने वाले थे। जब सायरा को इसकी सूचना मिली तो अपने पसंदीदा नायक की एक झलक पाने की उम्मीद करते हुए वह इस शो में पहुंच गई। मगर अफ़सोस कि, कुछ कारणों से दिलीप कुमार इस समारोह का हिस्सा नहीं बने और सायरा के चेहरे पर मायूसी छा गई। उन्हें लगने लगा था कि शायद वह दिलीप कुमार से कभी नहीं मिल पाएंगी। खैर, कहते हैं न कि प्यार अपना रास्ता ख़ुद बना लेता है!
दिलीप को पाने के लिए सायरा ने चुनी फिल्मी दुनिया
बस इसी के बाद से सायरा ने अपने प्यार से मिलने के लिए इंडस्ट्री की राह पकड़ ली, ताकि वह दिलीप कुमार से शादी कर सकें। मां की मदद से उन्होंने इस रास्ते पर चलना शुरू कर दिया। जल्द ही उन्हें शम्मी कपूर जैसे बड़े सितारे के साथ एक फ़िल्म में काम करने को मिला। आगे चलकर उनकी मुलाकात एक दिन दिलीप साहब से हो ही गई। जब सायरा को सुपरस्टार की पहली झलक मिली, तो सबकुछ भूलकर वह उन्हें एकटक निहारने लगीं। उस पहली मुलाकात को याद करते हुए, उन्होंने एक साक्षात्कार में कहा था, "जब वह मुझे देखकर मुस्कुराए और उन्होंने मुझपर कमेंट किए कि, मैं एक सुंदर लड़की हूं, तो मैं महसूस कर सकती थी कि मैं उस समय कितनी खुश थी। मैं अपने भीतर ये सोच रही थी कि मैं उनकी पत्नी बनने जा रही हूं।''
सायरा बानो और दिलीप कुमार की शादी
दिलीप कुमार और सायरा बानो को करीब लाने में सायरा की मां और अभिनेत्री रही नसीम बानो की अहम भूमिका रही है। नसीम बानो ने ही सबसे पहले दिलीप कुमार से कहा था कि, वो सायरा बानो से रिश्ते के बारे में बातचीत करें। इतना ही नहीं दिलीप कुमार ने सायरा बानो को शादी करने के लिए प्रपोज भी कर दिया, और फिर आखिरकार 11 अक्टूबर 1966 को दिलीप कुमार और सायरा बानो एक दूसरे के साथ शादी के पवित्र बंधन में बंध गए। उस वक्त दिलीप कुमार की उम्र 44 साल थी और सायरा बानो सिर्फ 22 साल की थीं।
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